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स्त्री रोगों की चिकित्सा में जाने विशेषज्ञ की राय

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हालांकि मेनोपॉज का डायग्नोज महावारी के 12 महीने ना होने पर किया जाता है लेकिन आप अल्ट्रासाउंड और ब्लड टेस्ट करवा कर भी मेनोपॉज प्रमाणित कर सकते हैं।
कैसे करें मीनोपॉज के लक्षणों का निवारण

आम तौर पर हम मीनोपॉज का इलाज नहीं करते जीवनशैली में बदलाव लाने से कई महिलाएं राहत महसूस कर पाती हैं।

मीनोपॉज के बाद स्वास्थ्य की देखभाल कैसे करें?.

मीनोपॉज की सामान्य समस्याओं से बचने के  घरेलू उपाय:-

संतुलित आहार:- अपने रोज के खाने में संतुलन बनाए रखना मीनोपॉज के बाद बहुत अहमियत रखता है ज्यादा से ज्यादा शाकाहारी और फाइबर युक्त खाने का सेवन करें प्रोसैस्ड या पैकेज्ड आहार जितना कम खाया जाए आपके सेहत के लिए उतना उपकारी है।

कैलशियम सप्लीमेंट्स:-

मीनोपॉज के बाद एस्ट्रोजन के कमी की वजह से आप की हड्डियां कमजोर पड़ जाती हैं इस समय ऑस्टियोपोरोसिस होने की संभावना बढ़ जाती है और शरीर में कैल्शियम की जरूरत ज्यादा होती है।

कुछ स्थितियों में शरीर को आहार से पर्याप्त रूप से कैल्शियम नहीं मिल पाता इस समय आप डॉक्टर के सलाह से कैलशियम सप्लीमेंट्स लेना शुरू कर सकते हैं आपके डॉक्टर आपके सेहत और शारीरिक जरूरत को ध्यान में रखते हुए दवा देंगे।

नियमित व्यायाम:-

मीनोपॉज के बाद व्यायाम न करने पर आपका वजन बढ़ सकता है यदि आप नियमित आधार पर दिन में कम से कम 30 से 40 मिनट टहलने जाएं या एरोबिक्स करें तो आपकी हड्डियों मांसपेशी और जोड़ों पर भी अच्छा प्रभाव पड़ सकता है।

जाने कौन सी औषधि स्त्रियों के लिए वरदान स्वरूप है:-

एलोवेरा जेल: एलोवेरा जेल विभिन्न आवश्यक विटामिन और खनिजों का एक बिजलीघर है ,आप या तो एलोवेरा के पौधे से जल निकाल सकते हैं या इसे बाजार से खरीद सकते हैं ,जेल का शुद्ध रूप फाइटोएस्ट्रोजन में उच्च होता है जो हार्मोंस के असंतुलन को ठीक करने में मदद करता है एलोवेरा जेल में शरीर को फिर से सक्रिय करने की प्रवृत्ति होती है जो रजोनिवृत्ति के लक्षणों को उलट सकती है।
शतावरी:
शतावरी को महिलाओं के लिए काफी फायदेमंद कहा जाता है इसकी पाउडर का सेवन दूध के साथ किया जा सकता है आमतौर पर महिला स्वास्थ्य टॉनिक के रूप में भी शतावरी को इस्तेमाल करती हैं इसका उपयोग योनि स्राव रात में पसीना चिंता गर्म चमक और मिजाज सहित रजोनिवृत्ति की शिकायत के इलाज के लिए किया जा सकता है..

मेथी के बीज:

यह आश्चर्यजनक बीज बहुत सारे स्वास्थ्य लाभ गाड़ी गुणों से भरपूर होते हैं इसमें प्राकृतिक हार्मोन संतुलन गुड है मेथी के दानों को रात भर पानी में भिगोकर रखें और सुबह खाली पेट इसका सेवन करें।

उपरोक्त लेख को डॉ आरती त्रिपाठी द्वारा आयुष दर्पण के सुधि पाठकों के लिये लिखा गया है डॉ आरती हरिद्वार जनपद में चिकित्साधिकारी के पद पर कार्यरत हैं तथा विभिन्न सेमिनार्स मे प्रस्तुतिकरण देने सहित स्त्री रोगों की चिकित्सा में विशेष अनुभव रखती हैं ।

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2 thoughts on “स्त्री रोगों की चिकित्सा में जाने विशेषज्ञ की राय

  1. बहुत ही अच्छी जानकारी दी है…. धन्यवाद…..

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