जानिये ड़ेंगू से बचाव में क्यों नाकाम हो रही है वैक्सीन्स!

आज ड़ेंगू का वायरस एक विकराल स्वरूप लेकर अपने पांव फैलाये जा रहा है क्या आपने कभी सोचा कि आज का विज्ञान इसके खिलाफ एक वैक्सीन तक क्यों नही बना पाया तो आइये जानते हैं कुछ रोचक तथ्य:-
ड़ेंगू का वायरस डीई इनवी पूरी दुनिया में 400 मिलियन लोगों को अपनी चपेट में लिए हुए हैं ।इसके लिये ईजाद की गई वैक्सीन्स नाकारा हो चुकी है चुनिंदा देशो में प्रचलित वैक्सीन भी किसी काम की नही रही है। अपने प्रोटीन की संरचना के कारण वायरस अपने रूप को ही बदल डालता है जिस कारण वैक्सीन इस वायरस DENV के लिए बेकार साबित हो रही हैं। 2016 में एक थोड़ी बहुत काम करनेवाली वैक्सीन का निर्माण डेंगू बुखार से बचाव हेतु सामने लाया गया। यह वैक्सीन फिलीपींस और इंडोनेशिया में व्यावसायिक इस्तेमाल के लिए उपलब्ध भी हुई। इस वैक्सीन को मैक्सिको, ब्राजील कोस्टारिका, सिंगापुर पैराग्वे और यूरोप के देशों के साथ-साथ अमेरिका ने भी अप्रूव्ड किया, लेकिन इस वैक्सीन के साथ सबसे बड़ा रोचक तथ्य यह है कि यह वैक्सीन उन्हीं लोगों में काम करती है जिनमें पहले डेंगू का संक्रमण हो चुका हो, अन्यथा यह वैक्सीन उल्टे स्थिति को और बिगाड़ देती है। इस बात पर भी शोध किया जा रहा है कि यह वैक्सीन इस वायरस की चारों सिरोटाइप पर काम करे लेकिन अब पांचवा सिरोटाइप DENV5 भी सामने आ गया है. वैक्सिन के साथ सबसे बड़ी समस्या यह है यह वायरस अपनी संरचना में लगातार परिवर्तन करता रहता है जिस कारण वैक्सीन प्रभावी ही नहीं होती।